देहरादून। उत्तराखंड में मतदान की तिथि नजदीक आते ही माओवादियों ने विभिन्न क्षेत्रों में लोगों से चुनाव बहिष्कार और जनयुद्ध का आह्वान करने संबंधी पोस्टर लगाए हैं। कुछ जगह वॉलपेंटिंग भी की गई है। राज्य में माओवादियों की इस तरह सक्रियता से पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया है।
माओवादियों ने वीरवार रात अल्मोड़ा में सोमेश्वर स्टेडियम के निकट काल भैरव मंदिर की धर्मशाला, सर्प गांव स्थित कालिका मंदिर की धर्मशाला और अधुरिया में संग्राली माता मंदिर की दीवारें चुनाव बहिष्कार व जनयुद्ध के नारों से पाट दीं। माओवादियों ने जगह-जगह इसी आशय के पर्चे भी फेंके।
शुक्रवार सुबह मामला सामने आते ही प्रशासन में हड़कंप मच गया। पुलिस ने दीवारें साफ कराने के साथ ही पर्चे इकट्ठा कर जब्त कर लिए। संदिग्धों की तलाश में पुलिस की कई टीमें लगाई गई हैं। राज्य में इससे पूर्व भी प्रतिबंधित माओवादी ने अनेक बार इसी तरह अपनी उपस्थिति का प्रदर्शन कर चुके हैं।
अल्मोड़ा के एसएसपी दलीप सिंह कुंवर ने पत्रकारों को बताया कि मामला दर्ज कर सोमेश्वर के थानाध्यक्ष विजेंद्र साह को मामले की जांच सौंपी गई हैं। जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
उत्तराखंड के विधानसभा चुनाव में इस बार तीन वामपंथी पार्टियां- सीपीआई, सीपीआई(एम) और सीपीआई (एमएल) साझा मोर्चा बना कर कुछ सीटों पर चुनाव लड़ रही है। राज्य में नेपाल की सीमा के साथ लगते क्षेत्रों में पिछले कुछ वर्षों से माओवादियों की सक्रियता प्रशासन के लिए सिरदर्द बनी हुई है।