बद्दी। औद्योगिक नगरी बद्दी में भटौलीकलां पंचायत की दलित बस्ती में बढ़ते प्रदूषण की मार झेल रहे लोगों के सब्र का बांध अंतत: टूट गया और उन्होंने शुक्रवार को साथ लगते वीवीएफ उद्योग के गेट पर जोरदार प्रदर्शन किया। बस्तीवासियों का आरोप है कि बार-बार शिकायत करने पर भी जिम्मेदार विभाग संबंधित उद्योग पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है और बढ़ते प्रदूषण के कारण उनका जीना दूभर हो गया है। प्रदर्शनकारियों ने प्रदूषण नियंत्रण विभाग और उद्योग प्रबंधकों के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और चेतावनी दी कि यदि संबंधित उद्योग के खिलाफ तुरंत कड़ी कार्रवाई नहीं की गई तो आंदोलन के अगले चरण में अधिकारियों का घेराव किया जाएगा।
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इसी बीच के आंदोलन के समर्थन में विभिन्न जनप्रतिनिधि और पर्यावरण संस्था हिम परिवेश के पदाधिकारी भी खड़े हो गए हैं। बीडीसी के वाईस चेयरमैन बलविंद्र ठाकुर ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि इस उद्योग से निकलने वाले प्रदूषण से लोग बुरी तरह परेशान हैं। बस्ती के दो दर्जन से ज्यादा लोग सांस और चमड़ी से रोगों से ग्रस्त हैं। न उद्योगपति और न ही प्रशासन पीडि़तों की कोई सुनवाई कर रहे हंै। उन्होंने कहा कि इस अन्याय को अब और अधिक नहीं सहन किया जाएगा।
दलित बस्ती के वासियों -गुरभजन सिंह, सीता राम, भगत राम, हेम राज, उमेश कुमार, सुलोचना देवी, सुमित्रा देवी, मस्त राम, ओम चंद, रुलदू राम, देसराज, गुरबचन सिंह, बुधराम, मदन लाल, रघुवीर दास, श्यामा लाल, रामकिशन, पम्मी, संजीव कुमार और मंगत राम ने बताया कि वीवीएफ उद्योग से दुर्गंध युक्त गैस निकलती रहती है, जिससे लोगों का दम घुटता है और वे सांस की बीमारी से पीडि़त हो रहे हैं। उन्होंने बताया कि यह उद्योग गांव के रास्ते में कैमिकल भी छोड़ता है, जिससे रास्ते से निकलना मुश्किल हो गया है। रात के समय तीखी गंध वाली गैस छोड़ी जाती है, जिससे उनका दम घुट जाता है। इसके अतिरिक्त उद्योग तेज ध्वनि प्रदूषण भी फैला रहा है, जिससे लोग ढंग से सो नहीं पा रहे हंै। ग्रामीणों ने बताया कि वे कई बार प्रदूषण नियंत्रण विभाग से इसकी शिकायत कर चुके हैं, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई।
स्थानीय पर्यावरण संस्था हिम परिवेश के अध्यक्ष जगजीत सिंह दुखिया व महासचिव बालकिशन शर्मा का कहना है कि हमें क्षेत्र में ऐसा औद्योगिक विकास नहीं चहिए जो आम लोगों के विनाश का कारण बने। उन्होंने कहा वे गांव का दौरा कर लोगों का दर्द जानेंगे और उन्हें न्याय दिलाने के लिए हर स्तर पर संघर्ष करेंगे। उधर, उद्योग के एचआर राजेश शर्मा का कहना है कि वे एडिवल आयल बनाते हैं और इससे किसी भी तरह का प्रदूषण नहीं फैलता है ।
प्रदूषण नियंत्रण विभाग के एक्सीएन अनिल मनूजा से इस संबंध में बात की गई तो उन्होंने बताया कि गांववासी वीवीएफ उद्योग के खिलाफ प्रदूषण की शिकायत लेकर आए थे। विभाग शीघ्र ही उद्योग की कार्यप्रणाली की पूरी जांच करेगा और यदि कहीं कमी पाई गई तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।