देश में महंगाई सारे रिकार्ड तोड़ती जा रही है, जिससे गरीबों का जीना दूभर हो गया है। आम जनता के लिए प्रोटीन का मुख्य स्रोत दालों की कीमतें तो आसमान ही छू चुकी हैं। कुव्यवस्था के चलते एक ओर
हजारों, लाखों टन अनाज खुले आसमान के नीचे सड़ रहा है तो दूसरी ओर गरीब जनता भुखमरी की शिकार है। ऐसी स्थिति को हमारे सामने पत्रकार खबरों द्वारा, छायाकार चित्रों द्वारा, कविगण कविताएं लिखकर और विपक्षी नेतागण भाषणों द्वारा व्यक्त करते हैं। अभिव्यक्ति की ऐसी ही विधाओं में एक मजबूत कड़ी हैं- कार्टूनिस्ट। प्रस्तुत है विख्यात कार्टूनिस्ट आनंद सिंह राजपूत की नजर में बढ़ती महंगाई:-
धर्मशाला। पूर्व मुख्यमंत्री एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री शांता कुमार ने कहा है कि पालमपुर नगर… Read More
कुल्लू। जिला कुल्लू के मणिकर्ण घाटी के गांव सरानाहुली में बुधवार रात को दो मंजिला… Read More
फासीवाद और प्रगतिशील दोनों विपरीत विचारधाराएं हैं। एक घोर संकीर्णवादी है तो दूसरी समाज में… Read More
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रामपुर। कांग्रेस ने चुनाव के दौरान 80 व 100 रुपये प्रति लीटर के हिसाब से… Read More
शिमला। मानव भारती निजी विश्वविद्यालय के नाम से जारी हुई फर्जी डिग्रियों में इसी विवि… Read More